Positive India:New Delhi:
भारत की खुफिया एजेंसी रॉ(R&AW) को सूचना के अधिकार अधिनियम से छूट मिली हुई है, बुधवार को अपने एक आदेश में दिल्ली हाईकोर्ट ने ये टिप्पणी की,कोर्ट ने कहा कि, जब तक मानवाधिकार और भ्रष्टाचार का कोई मामला न हो, तब तक इस खुफिया एजेंसी को इस दायरे से बाहर रखा गया है।
#दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने एक आदेश में भारत की खुफिया एजेंसी रॉ को सूचना के अधिकार अधिनियम (RTI Act) के दायरे से बाहर रखा है. कोर्ट ने अपनी टिप्पणी में कहा है कि ‘भारत की खुफिया एजेंसी रॉ सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत नहीं आती और इसे इससे छूट मिली हुई है, जब तक किसी आरटीआई लगाने वाले के द्वारा मांगी गई जानकारी मानवाधिकारों या भ्रष्टाचार के मुद्दों से संबंधित नहीं है, तब तक इसका खुलासा नहीं किया जा सकता है।
#RTI आवेदक की याचिका पर दिया आदेश
अदालत का यह आदेश एक आरटीआई आवेदक की एक याचिका पर आया है, जिसमें एक निश्चित अवधि के दौरान रॉ के एक पूर्व प्रमुख के आवासों की जानकारी का खुलासा करने की मांग की गई थी, अदालत ने याचिकाकर्ता को जानकारी प्रदान करने से इनकार करने वाले सीआईसी के आदेश में हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया और कहा कि सूचना का अधिकार अधिनियम की धारा 24 यह छूट प्रदान करती है. इसके तहत दूसरी अनुसूची और अनुसंधान और विश्लेषण विंग में निर्दिष्ट सुरक्षा और खुफिया संगठनों पर लागू नहीं होती है,रॉ इनमें से एक है।
रॉ को RTI से मिली है छूट:
जस्टिस प्रतिभा ए सिंह ने अपने आदेश में कहा, कि “रॉ एक ऐसा संगठन है, जिसका विशेष रूप से आरटीआई अधिनियम की अनुसूची में उल्लेख किया गया है, यह एक छूट प्राप्त संगठन है, जब तक किसी आरटीआई लगाने वाले के द्वारा मांगी गई जानकारी मानवाधिकारों या भ्रष्टाचार के मुद्दों से संबंधित नहीं है, तब तक इसका खुलासा नहीं किया जा सकता है।